Tuesday, July 30, 2019

प्रार्थना

जय श्री राम
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श्री हनुमते नमः

एक हाथ में गदा है उनके,
एक हाथ पर सुमेर उठाये,
चले हनुमान संजीवनी लेकर,
लक्ष्मण के प्राण बचाने हैं।
लंका उस पार मूर्छित लक्ष्मण हैं,
श्री राम व्याकुल बहुत अधिक हैं,
अगर लक्ष्मण जीवित न होंगे,
तो दुनिया को क्या मुंह दिखाऊंगा?
सभी वानर चिन्तित वहाॅ पर,
श्री राम को सांत्वना दे रहे,
हनुमान की सभी प्रतीक्षा करते थे,
लेकिन उनके आने तक शंका बनी हुई है।
देख हनुमन् को आता हुआ,
हर्षित हो गयी वानर सेना,
पवनसुत हनुमान की जय हो,
अंजनि पुत्र हनुमान की जय हो,
उद्घोष किया तब सबने मिलकर।।

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