Sunday, August 11, 2019

छोटा न समझें किसी को

छोटा न समझें किसी को,
यह समय है,
कौन किस वक्त किस रूप में काम आ जाये,
हम नहीं जानते हैं।
जो सुई कर सकती,
तलवार कहाँ कर पायेगी,
चींटी दीवार चढ़ जाती,
क्या हाथी चढ़ पायेगा।
छोटा नहीं दुनिया में कोई,
सब समय की बात है,
अपना समय तो आने पर,
कुत्ता भी शेर बन जाता है।
हम ऊँचे हैं वह नीचे है,
सोचना ही गलत है,
जो समय पर काम आ जाये,
बड़ा वही होता है।।

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